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एडवोकेट नीलकमल गौतम
https://hi.wikipedia.org/wiki/एडवोकेट_नीलकमल_गौतम
Advocate Neelkamal Gautam Directions Call 5.021 Google reviews Legal services in Ghaziabad, Uttar Pradesh You manage this Business Profile Address: चैंबर नंबर 10, सिविल कार्ट, Rajnagar, Kamla Nehru Nagar, Ghaziabad, Uttar Pradesh 201009 Hours: Open ⋅ Closes 6 pm Phone: 099114 64338 Edit your business information Success! Your edit is live. Add missing information Add website
विवा कम्युनिकेशंस
https://hi.wikipedia.org/wiki/विवा_कम्युनिकेशंस
विवा कम्युनिकेशंस इंक॰ (), जिसे विवा एंटरटेनमेंट इंक॰ के नाम से भी जाना जाता है, एक फिलीपीन बहुराष्ट्रीय निजी संगुटिका है। यह कंपनी ऑर्टिगैस सेंटर, पासिग में स्थित है। इसकी स्थापना 1981 को विक डेल रोसारियो जूनियर और उनकी बहन टेस क्रूज़ द्वारा ने की थी। सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ श्रेणी:जन संचार माध्यम श्रेणी:फिलिपींस की कम्पनियाँ
अग्नि पुराण पहलाअध्याय हिन्दी मे
https://hi.wikipedia.org/wiki/अग्नि_पुराण_पहलाअध्याय_हिन्दी_मे
अग्नि पुराण - पहला अध्याय ! ग्रन्थप्रस्तावना ! में मङ्गलाचरण तथा अग्नि और वसिष्ठ के संवाद रूप से अग्निपुराण का आरम्भ का वर्णन है। श्रियं सरस्वतीं गौरीं गणेशं स्कन्दमीश्वरम् । ब्रह्माणं वह्निमिन्द्रादीन् वासुदेवं नमाम्यहम् ।। १ ।। अग्निपुराण अध्याय १ ‘लक्ष्मी, सरस्वती, पार्वती, गणेश, कार्तिकेय, महादेवजी, ब्रह्मा, अग्नि, इन्द्र आदि देवताओं तथा भगवान् वासुदेव को मैं नमस्कार करता हूँ‘ ॥ १ ॥ नैमिषारण्य की बात है। शौनक आदि ऋषि यज्ञों द्वारा भगवान् विष्णु का यजन कर रहे थे। उस समय वहाँ तीर्थयात्रा के प्रसङ्ग से सूतजी पधारे। महर्षियों ने उनका स्वागत-सत्कार करके कहा- ॥२॥ ऋषि बोले– सूतजी ! आप हमारी पूजा स्वीकार करके हमें वह सार से भी सारभूत तत्त्व बतलाने की कृपा करें, जिसके जान लेनेमात्र से सर्वज्ञता प्राप्त होती है ॥ ३ ॥ सूतजी ने कहा– ऋषियो ! भगवान् विष्णु ही सार से भी सारतत्त्व हैं। वे सृष्टि और पालन आदि के कर्ता और सर्वत्र व्यापक हैं। ‘वह विष्णुस्वरूप ब्रह्म मैं ही हूँ‘- इस प्रकार उन्हें जान लेने पर सर्वज्ञता प्राप्त हो जाती है। ब्रह्म के दो स्वरूप जानने के योग्य हैं- शब्दब्रह्म और परब्रह्म । दो विद्याएँ भी जानने के योग्य हैं- अपरा विद्या और परा विद्या। यह अथर्ववेद की श्रुति का कथन है। एक समय की बात है, मैं, शुकदेवजी तथा पैल आदि ऋषि बदरिकाश्रम को गये और वहाँ व्यासजी को नमस्कार करके हमने प्रश्न किया। तब उन्होंने हमें सारतत्त्व का उपदेश देना आरम्भ किया ॥ ४-६ ॥ व्यासजी बोले– सूत! तुम शुक आदि के साथ सुनो। एक समय मुनियों के साथ मैंने महर्षि वसिष्ठजी से सारभूत परात्पर ब्रह्म के विषय में पूछा था। उस समय उन्होंने मुझे जैसा उपदेश दिया था, वही तुम्हें बतला रहा हूँ॥७॥ वसिष्ठजी ने कहा– व्यास ! सर्वान्तर्यामी ब्रह्म के दो स्वरूप हैं। मैं उन्हें बताता हूँ, सुनो ! पूर्वकाल में ऋषि-मुनि तथा देवताओं सहित मुझसे अग्निदेव ने इस विषय में जैसा, जो कुछ भी कहा था, वही मैं (तुम्हें बता रहा हूँ) अग्निपुराण सर्वोत्कृष्ट है। इसका एक-एक अक्षर ब्रह्मविद्या है, अतएव यह ‘परब्रह्मरूप‘ है। ऋग्वेद आदि सम्पूर्ण वेद शास्त्र ‘अपरब्रह्म‘ हैं। परब्रह्मस्वरूप अग्निपुराण सम्पूर्ण देवताओं के लिये परम सुखद है। अग्निदेव द्वारा जिसका कथन हुआ है, वह आग्नेयपुराण वेदों के तुल्य सर्वमान्य है। यह पवित्र पुराण अपने पाठकों और श्रोताजनों को भोग तथा मोक्ष प्रदान करनेवाला है। भगवान् विष्णु ही कालाग्निरूप से विराजमान हैं। वे ही ज्योतिर्मय परात्पर परब्रह्म हैं। ज्ञानयोग तथा कर्मयोग द्वारा उन्हीं का पूजन होता है। एक दिन उन विष्णुस्वरूप अग्निदेव से मुनियों सहित मैंने इस प्रकार प्रश्न किया ॥ ८-११ ॥ वसिष्ठजी ने पूछा– अग्निदेव ! संसारसागर से पार लगाने के लिये नौकारूप परमेश्वर ब्रह्म के स्वरूप का वर्णन कीजिये और सम्पूर्ण विद्याओं के सारभूत उस विद्या का उपदेश दीजिये, जिसे जानकर मनुष्य सर्वज्ञ हो जाता है ॥ १२ ॥ अग्निदेव बोले– वसिष्ठ ! मैं ही विष्णु हूँ, मैं ही कालाग्निरुद्र कहलाता हूँ। मैं तुम्हें सम्पूर्ण विद्याओं की सारभूता विद्या का उपदेश देता हूँ, जिसे अग्निपुराण कहते हैं। वही सब विद्याओं का सार है, वह ब्रह्मस्वरूप है। सर्वमय एवं सर्वकारणभूत ब्रह्म उससे भिन्न नहीं है। उसमें सर्ग, प्रतिसर्ग, वंश, मन्वन्तर, वंशानुचरित आदि का तथा मत्स्य-कूर्म आदि रूप धारण करनेवाले भगवान्का वर्णन है। ब्रह्मन् ! भगवान् विष्णु की स्वरूपभूता दो विद्याएँ हैं- एक परा और दूसरी अपरा ऋक् यजुः साम और अथर्वनामक वेद, वेद के छहों अङ्ग- शिक्षा, कल्प, व्याकरण, निरुक्त, ज्यौतिष और छन्दः शास्त्र तथा मीमांसा, धर्मशास्त्र, पुराण, न्याय, वैद्यक (आयुर्वेद), गान्धर्व वेद (संगीत), धनुर्वेद और अर्थशास्त्र – यह सब अपरा विद्या है तथा परा विद्या वह है, जिससे उस अदृश्य, अग्राह्य, गोत्ररहित, चरणरहित, नित्य, अविनाशी ब्रह्म का बोध हो। इस अग्निपुराण को परा विद्या समझो । पूर्वकाल में भगवान् विष्णु ने मुझसे तथा ब्रह्माजी ने देवताओं से जिस प्रकार वर्णन किया था, उसी प्रकार मैं भी तुमसे मत्स्य आदि अवतार धारण करनेवाले ! इस प्रकार व्यास द्वारा सूत के प्रति कहे गये आदि आग्रेय महापुराण में पहला अध्याय पूरा हुआ ॥ १ ॥
तारकेश्वर महादेव मंदिर
https://hi.wikipedia.org/wiki/तारकेश्वर_महादेव_मंदिर
तारकेश्वर महादेव मंदिर देवभूमि उत्तराखंड को महादेव शिव की तपस्थली भी कहा जाता है। ताड़केश्वर महादेव मंदिर (Tarkeshwar Mahadev Temple), उत्तराखंड के पौड़ी जिले के ‘गढ़वाल राइफल’ के मुख्यालय लैंसडाउन (lansdowne) से 34 किलोमीटर दूर और समुद्रतल से लगभग 1800 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। स्कंद पुराण के केदारखंड में वर्णित विष गंगा व मधु गंगा उत्तर वाहिनी नदियों का उद्गम स्थल भी ताड़केश्वर धाम में माना गया है। यह स्थान “भगवान शिव” को “श्री ताड़केश्वर मंदिर धाम” या “ताड़केश्वर महादेव मंदिर (Tarkeshwar Mahadev Temple)” के रूप में समर्पित है। इस मंदिर का नाम उत्तराखंड के प्राचीन मंदिरों में आता है, और इसे “महादेव के सिद्ध पीठों” में से एक के रूप में भी जाना जाता है। देवदार, बुरांश और चीड़ के घने जंगलो से घिरा, यह उन लोगों के लिए आदर्श स्थान है, जो प्रकृति में सौन्दर्य की तलाश करते है। यहाँ पौराणिक महत्व है कि देवी पार्वती ने भगवान शिव को प्राप्त करने के लिए ताड़केश्वर में प्रार्थना की थी, कई भक्तों का यह भी मानना है कि भगवान शिव अभी भी इस स्थान पर हैं और गहरी नींद में है। एक समय ताड़ के बड़े पेड़ो से गिरी छोटी टहनी और पत्तो को ही यहाँ के प्रसाद के रूप में दिया जाता था। आइए जानते हैं इस मंदिर की विशेषता के बारे में… माता लक्ष्मी ने खोदा था कुंड मंदिर परिसर में एक कुंड भी है। मान्यता है कि यह कुंड स्वयं माता लक्ष्मी ने खोदा था। इस कुंड के पवित्र जल का उपयोग शिवलिंग के जलाभिषेक के लिए होता है। जनश्रुति के अनुसार यहां पर सरसों का तेल और शाल के पत्तों का लाना वर्जित है। लेकिन इसकी वजह के बारे में लोग कुछ कह नहीं पाते। ताड़कासुर ने यहीं की थी तपस्या पौराणिक कथाओं के अनुसार, ताड़कासुर नामक राक्षस ने भगवान शिव से अमरता का वरदान प्राप्त करने के लिए इसी स्थान पर तपस्या की थी। शिवजी से वरदान पाकर ताड़कासुर अत्याचारी हो गया। परेशान होकर देवताओं और ऋषियों ने भगवान शिव से प्रार्थना की और ताड़कासुर का अंत करने के लिए कहा। इसलिए पड़ा मंदिर का नाम 'ताड़केश्वर' भोलेनाथ ने असुरराज ताड़कासुर को उसके अंत समय में क्षमा किया और वरदान दिया कि कलयुग में इस स्थान पर मेरी पूजा तुम्हारे नाम से होगी इसलिए असुरराज ताड़कासुर के नाम से यहां भगवान भोलेनाथ 'ताड़केश्वर' कहलाये। एक अन्य दंतकथा भी यहां प्रसिद्ध है कि एक साधु यहां रहते थे जो आस-पास के पशु पक्षियों को सताने वाले को ताड़ते यानी दंड देते थे। इनके नाम से यह मंदिर ताड़केश्वर के नाम से जाना गया। माता पार्वती हैं मौजूद छाया बनकर ताड़कासुर के वध के पश्चात् भगवान शिव यहां विश्राम कर रहे थे, विश्राम के दौरान भगवान शिव पर सूर्य की तेज किरणें पड़ रही थीं। भगवान शिव पर छाया करने के लिए स्वयं माता पार्वती सात देवदार के वृक्षों का रूप धारण कर वहां प्रकट हुईं और भगवान शिव को छाया प्रदान की। इसलिए आज भी मंदिर के पास स्थित सात देवदार के वृक्षों को देवी पार्वती का स्वरूप मानकर पूजा जाता है। त्रिशूल रूपी वृक्ष मंदिर परिसर में मौजूद त्रिशूलनुमा देवदार का पेड़ है, जो दिखने में सचमुच बेहद अदभुत है। यह वृक्ष इसे देखने वाले श्रद्धालुओं की आस्था को प्रबल करता है। मनोकामना पूरी होने पर भक्त भेंट करते हैं घंटी ऐसी मान्यता है कि जब किसी भक्त की मनोकामना पूरी होती है तो वह यहां मंदिर में घंटी चढ़ाते हैं। यहां दूर दूर से लोग अपनी मुरादें लेकर आते हैं, और भगवान शिव जी अपने भक्तों को कभी निराश नहीं करते। यहां मंदिर में चढ़ाई गई हजारों घंटियां इस बात का प्रमाण हैं कि यहां बाबा की शरण में आने वाले भक्तों का कल्याण हुआ है। महाशिवरात्रि में विशेष पूजा का आयोजन महाशिवरात्रि पर यहां का नजारा अद्भुत होता है। इस अवसर पर यहां विशेष पूजा का आयोजन किया जाता है। पौराणिक कथा (Mythology of Tarkeshwar Temple) वैसे तो देवभूमि उत्तराखंड के पावन भूमि पर ढेर सारे पावन मंदिर और स्थल हैं। पर बलूत और देवदार के वनों से घिरा हुआ जिसे शिव की तपस्थली भी कहा जाता है, 'ताड़केश्वर' (Tarkeshwar) भगवान शिव का मंदिर। इस मंदिर के पीछे, पौराणिक कथाओं के अनुसार एक बेहद रोचक कहानी है। ताड़कासुर नाम का एक राक्षस था, जिसने भगवान शिव की घोर तपस्या की थी। भगवान शिव ताड़कासुर की तपस्या से प्रसन्न हुये और उसे वरदान मांगने के लिए कहा। वरदान के रूप में ताड़कासुर ने अमरता का वरदान मांगा परन्तु भगवान शिव ने अमरता का वरदान नहीं दिया और कहा यह प्रकृति के विरुद्ध है, कुछ और वर मांगो। तब ताड़कासुर ने भगवान शिव के वैराग्य रूप को देखते हुए, कहा कि अगर मेरी मृत्यु हो तो सिर्फ आपके पुत्र द्वारा ही हो। ताड़कासुर जानता था, कि भगवान शिव एक वैराग्य जीवन व्यतीत कर रहे है, इसलिए पुत्र का होना असंभव था। तब भगवान शिव ने ताड़कासुर को वरदान दे दिया। वरदान मिलते ही ताड़कासुर ने अपना आतंक फैला दिया। शिवजी से वरदान पाकर ताड़कासुर अत्याचारी हो गया। परेशान होकर देवताओं और ऋषियों ने भगवान शिव से प्रार्थना की और ताड़कासुर का अंत करने के लिए कहा। कई वर्षो के अन्तराल बाद माता पार्वती ने भगवान शिव से विवाह हेतु तप किया और अपने शक्ति रूप को जानने के बाद भगवान शिव से विवाह किया। विवाह के बाद माता पार्वती ने कार्तिक को जन्म दिया। भगवान शिव के आदेश पर कार्तिकेय ताड़कासुर से युद्ध करते हैं। जब ताड़कासुर अपनी अन्तिम सांसे ले रहा था, तब अपना अंत नजदीक जानकर ताड़कासुर भगवान शिव से क्षमा मांगता है। भोलेनाथ ताड़कासुर को क्षमा कर देते हैं और वरदान देते हैं कि कलयुग में इस स्थान पर तुम्हारे नाम से मेरी पूजा होगी, इसलिए असुरराज ताड़कासुर के नाम से यहां भगवान शिव 'ताड़केश्वर महादेव' कहलाते हैं। कई युगों पहले ताड़केश्वर महादेव मंदिर में शिवलिंग मौजूद था, लेकिन अब भगवान शिव की मूर्ति मौजूद है जिसकी पूजा होती है। भगवान शिव की मूर्ति उसी जगह है, जहां पर कभी शिवलिंग मौजूद था। तारकेश्वर मंदिर क्यों प्रसिद्ध है? 1720 के दशक में एक भक्त को सपने में भगवान शिव दिखे। वह स्वप्न के पथ पर चलते हुए उस स्थान पर रुके, जहां आज तारकेश्वर मंदिर है। भक्तों का मानना ​​है कि भगवान शिव लोगों की मनोकामना पूरी करने के लिए हर साल इस मंदिर में आते हैं ।
गविलघुर का कब्जा
https://hi.wikipedia.org/wiki/गविलघुर_का_कब्जा
१५ दिसंबर १८०३ को द्वितीय आंग्ल-मराठा युद्ध के दौरान सर आर्थर वेलेज़्ली की कमान के तहत ब्रिटिश ईस्ट इण्डिया कम्पनी की सेना द्वारा पश्चिमी भारत में गविलघुर किले पर कब्ज़ा, बरार के राजा, राघोजी द्वितीय भोंसले की सेना की हार में अंतिम कार्य था। . गविलघुर की ३००० की चौकी की कमान बेनी सिंह राजपूत ने संभाली, उनकी सहायता मनु बापू ने की, जो नागपुर के राजे भोसले के चचेरे भाई थे और किलेदार राणा शिवसिंह, नारनाला के राजपूत कमांडर और गविलगढ़ और आसपास के किलों के गवर्नर भी थे। राणा शिवसिंह राजपूत जमादार बेनी सिंह राजपूत के बहनोई थे।
कार्टून नेटवर्क (लातिनी अमरीका)
https://hi.wikipedia.org/wiki/कार्टून_नेटवर्क_(लातिनी_अमरीका)
कार्टून नेटवर्क (जिसे अक्सर सीएन के रूप में संक्षिप्त किया जाता है) एक लातिनी अमेरिकन केबल और सैटेलाइट टेलीविजन चैनल द्वारा संचालित है। इसकी स्थापना 30 अप्रैल 1993 को हुई थी। चैनल मुख्य रूप से एनिमेटेड प्रोग्रामिंग को स्पेनी और पुर्तगाली में प्रसारित करता है। लातिनी अमरीका के बाहर, लातिनी अमरीका प्रसारण कार्यालय कैरेबियन केबल कोआपरेटिव के संबद्ध सदस्य है। सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ श्रेणी:टीवी चैनल
डिजॉर्ज सिंड्रोम
https://hi.wikipedia.org/wiki/डिजॉर्ज_सिंड्रोम
अवलोकन डिजॉर्ज सिंड्रोम, जिसे 22q11.2 विलोपन सिंड्रोम के व्यापक शब्द से अधिक सटीक रूप से जाना जाता है, एक विकार है जो तब होता है जब गुणसूत्र 22 का एक छोटा हिस्सा गायब होता है। शब्द 22q11.2 विलोपन सिंड्रोम में डिजॉर्ज सिंड्रोम, वेलोकार्डियोफेशियल सिंड्रोम और एक ही आनुवंशिक कारण वाले अन्य विकारों सहित अलग-अलग स्थितियों के रूप में माना जाने वाला शब्द शामिल है, हालांकि विशेषताएं थोड़ी भिन्न हो सकती हैं। आमतौर पर 22q11.2 विलोपन सिंड्रोम से जुड़ी चिकित्सा समस्याओं में हृदय दोष, खराब प्रतिरक्षा प्रणाली कार्य, एक फांक तालु, रक्त में कैल्शियम के निम्न स्तर से संबंधित जटिलताएं और व्यवहारिक और भावनात्मक समस्याओं के साथ विलंबित विकास शामिल हैं। इलाज हालांकि डिजॉर्ज सिंड्रोम (22q11.2 विलोपन सिंड्रोम) का कोई इलाज नहीं है, उपचार आमतौर पर गंभीर समस्याओं को ठीक कर सकते हैं, जैसे कि हृदय दोष या फांक तालु। यदि बच्चे के पास कुछ थाइमिक कार्य है, तो संक्रमण अक्सर हो सकता है, लेकिन जरूरी नहीं कि गंभीर हो। मध्यम थाइमस हानि वाले अधिकांश बच्चों के लिए, उम्र के साथ प्रतिरक्षा प्रणाली के कार्य में सुधार होता है। यदि थाइमस की हानि गंभीर है या थाइमस नहीं है, तो बच्चे को कई गंभीर संक्रमणों का खतरा होता है। संयुक्त राज्य अमेरिका में, इस प्रकार की चिकित्सा प्रदान करने वाले प्रारंभिक हस्तक्षेप कार्यक्रम आमतौर पर किसी राज्य या काउंटी स्वास्थ्य विभाग के माध्यम से उपलब्ध होते हैं। उपचार की सिफारिश की जा सकती है यदि बच्चे को बाद में ध्यान-घाटे / अति सक्रियता विकार (एडीएचडी), ऑटिज़्म स्पेक्ट्रम विकार, अवसाद, या अन्य मानसिक स्वास्थ्य या व्यवहार संबंधी विकारों का निदान किया जाता है। सन्दर्भ मेयो क्लिनिक पर 22q11.2 विलोपन सिंड्रोम एनएचएस पर 22q11.2 विलोपन सिंड्रोम
टेरारिया
https://hi.wikipedia.org/wiki/टेरारिया
टेरारिया () रे-लॉजिक द्वारा विकसित 505 गेम्स और द्वारा प्रकाशित एक 2011 एक्शन रोमांच सैंडबॉक्स गेम है। इसे माइक्रोसॉफ्ट विंडोज़ के लिए 16 मई 2011 को जारी किया गया था। समालोचना डिस्ट्रक्टॉइड ने गेम को 10 में से 8 का स्कोर दिया। गेमस्पोट ने गेम को 10 में से 8 का स्कोर दिया। गेमज़ोन ने गेम को 10 में से 9 का स्कोर दिया। आईजीएन ने गेम को 10 में से 9 का स्कोर दिया। पॉलीगॉन ने गेम को 10 में से 6.5 का स्कोर दिया। सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ श्रेणी:वीडियो गेम श्रेणी:मैक ओएस एक्स गेम्स श्रेणी:प्लेस्टेशन 3 गेम्स
REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर
https://hi.wikipedia.org/wiki/REM_स्लीप_बिहेवियर_डिसऑर्डर
निदान मूल्यांकन में शामिल हो सकते हैं REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर का निदान करने के लिए, स्लीप मेडिसिन चिकित्सक आमतौर पर स्लीप डिसऑर्डर के अंतर्राष्ट्रीय वर्गीकरण, तीसरे संस्करण (ईछ्ष्ड्-३) में लक्षण मानदंड का उपयोग करते हैं। REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर के निदान के लिए, मानदंड में निम्नलिखित शामिल हैं: REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर एक न्यूरोडीजेनेरेटिव बीमारी के विकास का पहला संकेत हो सकता है, जैसे कि पार्किंसंस रोग, लेवी बॉडी के साथ मल्टीपल सिस्टम एट्रोफी या डिमेंशिया। नींद के दौरान बार-बार उत्तेजना होती है, जहां कोई बात करता है, शोर करता है या जटिल मोटर व्यवहार करता है, जैसे कि मुक्का मारना, लात मारना या दौड़ना जो अक्सर सपनों की सामग्री से संबंधित होता है। प्रकरण, एक सतर्क है और भ्रमित या विचलित नहीं है एक नींद अध्ययन (पॉलीसोमोग्राम) से पता चलता है कि आरईएम नींद के दौरान मांसपेशियों की गतिविधि में वृद्धि हुई है नींद की गड़बड़ी एक और नींद की गड़बड़ी, एक मानसिक स्वास्थ्य विकार, दवा या मादक द्रव्यों के सेवन के कारण नहीं है शारीरिक और तंत्रिका संबंधी परीक्षा . दवाई REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर के उपचार विकल्पों के उदाहरणों में शामिल हैं डॉक्टर कई अन्य दवाओं का अध्ययन करना जारी रखते हैं जो REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर का इलाज कर सकती हैं। अक्सर चिंता का इलाज करने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली यह चिकित्सकीय दवा, आरईएम नींद व्यवहार विकार के इलाज के लिए पारंपरिक विकल्प भी है, जो लक्षणों को प्रभावी ढंग से कम करने के लिए प्रकट होती है। सन्दर्भ मेयो क्लिनिक पर REM स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर श्रेणी:रोग
मोयमोया रोग
https://hi.wikipedia.org/wiki/मोयमोया_रोग
अवलोकन मोयमोया रोग में, मस्तिष्क की धमनियां संकरी हो जाती हैं और बंद भी हो सकती हैं, जिससे मस्तिष्क को ऑक्सीजन युक्त रक्त की आपूर्ति कम हो जाती है। मोयमोया रोग एक दुर्लभ रक्त वाहिका (संवहनी) विकार है जिसमें खोपड़ी में कैरोटिड धमनी अवरुद्ध या संकुचित हो जाती है, जिससे मस्तिष्क में रक्त का प्रवाह कम हो जाता है। लक्षण मोयमोया रोग का पहला लक्षण आमतौर पर स्ट्रोक या आवर्तक क्षणिक इस्केमिक अटैक (टीआईए) होता है, खासकर बच्चों में। वयस्क भी इन लक्षणों का अनुभव कर सकते हैं लेकिन मस्तिष्क में असामान्य मस्तिष्क वाहिकाओं से रक्तस्राव (रक्तस्रावी स्ट्रोक) का भी अनुभव कर सकते हैं। यदि किसी को स्ट्रोक या टीआईए के कोई लक्षण या लक्षण दिखाई देते हैं, तो तत्काल चिकित्सा की तलाश करें, भले ही वे उतार-चढ़ाव या गायब हो जाएं। लंबे समय तक स्ट्रोक का इलाज नहीं किया जाता है, मस्तिष्क क्षति और विकलांगता की संभावना अधिक होती है। यदि कोई व्यक्ति किसी के साथ है तो एक संदिग्ध व्यक्ति को आघात हो रहा है, आपातकालीन सहायता की प्रतीक्षा करते समय उस व्यक्ति को ध्यान से देखें। यदि किसी को इनमें से कोई भी लक्षण दिखाई देता है, तो तुरंत 911 पर कॉल करें या आपातकालीन चिकित्सा सहायता लें। कारण मोयामोया रोग सबसे अधिक जापान, कोरिया और चीन में देखा जाता है, लेकिन यह दुनिया के अन्य हिस्सों में भी होता है। मोयमोया कुछ स्थितियों से भी जुड़ा है, जैसे डाउन सिंड्रोम, सिकल सेल एनीमिया, न्यूरोफाइब्रोमैटोसिस टाइप 1 और हाइपरथायरायडिज्म। जोखिम कारक हालांकि मोयमोया रोग का कारण अज्ञात है, कुछ कारक एशियाई मूल के होने सहित इस स्थिति के होने के जोखिम को बढ़ा सकते हैं। मोयामोया रोग पूरी दुनिया में पाया जाता है, लेकिन यह पूर्वी एशियाई देशों, विशेष रूप से कोरिया, जापान और चीन में अधिक आम है। यदि किसी के परिवार में मोयामोया रोग है, तो सामान्य आबादी की तुलना में स्थिति होने का जोखिम 30 से 40 गुना अधिक होता है, जो एक आनुवंशिक घटक का दृढ़ता से सुझाव देता है। मोयामोया रोग कभी-कभी एक अन्य विकार के साथ होता है, जिसमें न्यूरोफाइब्रोमैटोसिस टाइप 1, सिकल सेल रोग और डाउन सिंड्रोम, कई अन्य शामिल हैं। हालांकि वयस्कों को मोयमोया रोग हो सकता है, लेकिन 15 वर्ष से कम उम्र के बच्चे सबसे अधिक प्रभावित होते हैं। निदान धमनियों और नसों को देखने और रक्त परिसंचरण (चुंबकीय अनुनाद एंजियोग्राम) को उजागर करने के लिए डॉक्टर रक्त वाहिका में एक डाई इंजेक्ट कर सकते हैं। धमनियों और नसों (सीटी एंजियोग्राम) में रक्त के प्रवाह को उजागर करने के लिए डॉक्टर रक्त वाहिका में डाई इंजेक्ट कर सकते हैं। सेरेब्रल एंजियोग्राम के दौरान, डॉक्टर कमर में एक रक्त वाहिका में एक लंबी, पतली ट्यूब (कैथेटर) डालते हैं और एक्स-रे इमेजिंग का उपयोग करके इसे मस्तिष्क तक ले जाते हैं। डॉक्टर फिर कैथेटर के माध्यम से मस्तिष्क की रक्त वाहिकाओं में डाई इंजेक्ट करते हैं ताकि वे एक्स-रे इमेजिंग के तहत दिखाई दे सकें। सन्दर्भ मेयो क्लिनिक पर ंओयमोय दिसेअसे श्रेणी:रोग
अंडकोष , वापस लेने योग्य
https://hi.wikipedia.org/wiki/अंडकोष_,_वापस_लेने_योग्य
अवलोकन एक वापस लेने योग्य अंडकोष एक ऐसा डिसऑर्डर है जिसमें अंडकोश और कमर के बीच आगे-पीछे हो सकता है। जब पीछे हटने वाला अंडकोष ग्रोइन में रहता है, तो शारीरिक परीक्षा के दौरान लिंग के पीछे लटकने वाली त्वचा के बैग को अंडकोश में अपनी उचित स्थिति में हाथ से आसानी से निर्देशित किया जा सकता है। इलाज यदि बेटे के पास एक वापस लेने योग्य अंडकोष है, तो बेटे का डॉक्टर वार्षिक मूल्यांकन में अंडकोष की स्थिति में किसी भी बदलाव की निगरानी करेगा ताकि यह निर्धारित किया जा सके कि यह अंडकोश में रहता है, पीछे हटने वाला रहता है या आरोही अंडकोष बन जाता है। यदि बेटे के पास वापस लेने योग्य अंडकोष है, तो वह अपनी उपस्थिति के प्रति संवेदनशील हो सकता है। बेटे को सामना करने में मदद करने के लिए: बेटे का डॉक्टर आमतौर पर एक पीछे हटने वाले अंडकोष का निदान कर सकता है। हालांकि, यदि निदान या तत्काल उपचार की आवश्यकता के बारे में कोई प्रश्न है, तो किसी को ऐसे डॉक्टर के पास भेजा जा सकता है जो मूत्र संबंधी विकारों और बच्चों में पुरुष जननांगों की समस्याओं (बाल चिकित्सा मूत्र रोग विशेषज्ञ) के विशेषज्ञ हैं। बच्चे की ओर से निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर देने के लिए या प्रश्नों के उत्तर देने में उसकी सहायता करने के लिए तैयार रहें: सरल शब्दों में समझाएं कि एक पीछे हटने वाला अंडकोष क्या है। बता दें कि अंडकोष की स्थिति कुछ एक है, बेटा और उसके डॉक्टर जरूरत पड़ने पर ध्यान देंगे और ठीक करेंगे। बच्चों में अवरोही वृषण (क्रिप्टोर्चिडिज्म): नैदानिक ​​​​विशेषताएं और मूल्यांकन। बच्चों में अवरोही वृषण (क्रिप्टोर्चिडिज्म): प्रबंधन। सन्दर्भ मेयो क्लिनिक पर अंडकोष , वापस लेने योग्य श्रेणी:रोग
भारत के राज्य और केन्द्र शासित प्रदेशों की राजधानियाँ
https://hi.wikipedia.org/wiki/भारत_के_राज्य_और_केन्द्र_शासित_प्रदेशों_की_राजधानियाँ
28 राज्य और उनकी राजधानियां क्रमांकराज्य का नामराजधानीस्थापना दिवस1आंध्र प्रदेशहैदराबाद (प्रस्तावित राजधानी अमरावती)1 नवम्बर 19562अरुणाचल प्रदेशईटानगर20 फरवरी 19873असमदिसपुर26 जनवरी 19504बिहारपटना26 जनवरी 19505छत्तीसगढ़रायपुर1 नवम्बर 20006गोवापंजी30 मई 19877गुजरातगांधीनगर1 मई 19608हरियाणाचंडीगढ़1 नवम्बर 19669हिमाचल प्रदेशशिमला25 जनवरी 197110झारखण्डरांची15 नवम्बर 200011कर्नाटकबेंगलुरु (पहले बैंगलोर)1 नवम्बर 195612केरलतिरुवनंतपुरम1 नवम्बर 195613मध्य प्रदेशभोपाल1 नवम्बर 195614महाराष्ट्रमुंबई1 मई 196015मणिपुरइम्फाल21 जनवरी 197216मेघालयशिलांग21 जनवरी 197217मिजोरमअइज़ोल20 फरवरी 198718नागालैंडकोहिमा1 दिसम्बर 196319ओडिशाभुवनेश्वर26 जनवरी 195020पंजाबचंडीगढ़1 नवम्बर 195621राजस्थानजयपुर1 नवम्बर 195622सिक्किमगंगटोक16 मई 197523तमिल नाडूचेन्नई26 जनवरी 195024तेलंगानाहैदराबाद2 जून 201425त्रिपुराअगरतला21 जनवरी 197226उत्तर प्रदेशलखनऊ26 जनवरी 195027उत्तराखंडदेहरादून (शीतकालीन) गैरसैंण (ग्रीष्मकालीन)9 नवम्बर 200028पश्चिम बंगालकोलकाता1 नवम्बर 1956 केंद्र शासित प्रदेशराजधानीस्थापना दिवसअंडमान व नोकोबार द्वीप समूहपोर्ट ब्लेयर1 नवम्बर 1956चंडीगढ़चंडीगढ़1 नवम्बर 1966दादरा और नगर हवेलीदमन26 जनवरी 2020दिल्लीनई दिल्ली9 मई 1905लक्षद्वीपकवरत्ती1 नवम्बर 1956पुडुचेरीपांडिचेरी1 नवम्बर 1954जम्मू कश्मीरश्रीनगर (ग्रीष्मकालीन)31 अक्टूबर 2019जम्मूजम्मू(शीतकालीन)लद्दाखलेह31 अक्टूबर 2019
मालासर
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मालासर () बीकानेर में स्थित एक बड़ा गाँव है जो राजस्थान, भारत राज्य के उत्तर-पश्चिम में है। यह गाँव आस-पास के तीन गाँवों का पंचायत मुख्यालय है। गाँव में कुल 450 घर हैं। यह गाँव अपनी अनोखी भौगोलिक स्थिति, सुंदर टीलों और रेतीले रास्तों के लिए लोकप्रिय है जो थार रेगिस्तान के बीच में स्थित है। शब्द-साधन मालासर दो शब्दों "माला" और "सर" से बना है, जहाँ "माला" एक प्रसिद्ध जाट शासक पांडु गोदारा के पुत्र मालारामजी गोदारा से आया है। स्थानीय भाषा में "सर" का अर्थ स्थान होता है। "माला" शब्द संस्कृत भाषा से लिया गया है जहाँ "मल" का अर्थ है "पहलवान" और "सर" का अर्थ है स्थान इसलिए मालासर का वैकल्पिक अर्थ "पहलवानों(मलों) का गाँव" है। स्थानीय संदर्भ में आमतौर पर यह माना जाता है कि पारंपरिक पहलवानों के पास प्रदर्शन करने के लिए दो कौशल होते थे, पहला कुश्ती और दूसरा एक भारी पत्थर (जिसे स्थानीय भाषा में माला कहा जाता है) को अपनी ऊंचाई से ऊपर उठाना, एक प्रकार का भारोत्तोलन। इन्ही सभी अवसर को मुख्य धारा में रखते हुवे समयांतराल में गांव में मालासर नाम से पुकारा जाने लगा। सन्दर्भ
वेनेविज़न
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वेनेविज़न () ग्रुपो सिस्नेरोस के स्वामित्व वाला एक वेनेजुएला टेलीविजन नेटवर्क है। इसकी स्थापना 1 मार्च 1961 को डिएगो सिस्नेरोस द्वारा की गई थी। टेलेविसा, टेलीमंडो, कैराकोल टेलीविजन, आरसीएन टेलीविज़न और रेडे ग्लोबो के साथ वेनेविज़न सबसे बड़े सोप ओपेरा निर्माताओं में से एक है। सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ श्रेणी:जन संचार माध्यम श्रेणी:टीवी चैनल श्रेणी:वेनेजुएला की कम्पनियाँ
आरसीएन टेलीविज़न
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आरसीएन टेलीविजन () एक कोलम्बियाई टेलीविजन नेटवर्क है जिसका स्वामित्व ऑर्गेनिज़ियोन अर्डीला लुले के पास है। इसकी स्थापना 23 मार्च, 1967 को एक टेलीविजन सामग्री उत्पादन कंपनी के रूप में की गई थी और आधिकारिक तौर पर 10 जुलाई, 1998 को एक स्वतंत्र चैनल के रूप में लॉन्च किया गया था। इसका मुख्य शेयरधारक कार्लोस अर्डीला लुले है। इसने सबसे सफल कोलम्बियाई टेलीनोवेलस में से एक, यो सोया बेट्टी, ला फी का निर्माण किया। सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ श्रेणी:जन संचार माध्यम श्रेणी:टीवी चैनल श्रेणी:कोलंबिया की कम्पनियाँ
यो सोया बेट्टी, ला फी
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यो सोया बेट्टी, ला फी () फर्नांडो गैटन द्वारा निर्मित और 25 अक्टूबर 1999 से 8 मई 2001 तक आरसीएन टेलीविज़न द्वारा प्रसारित एक कोलंबियाई टेलीनोवेला है। यह श्रृंखला दुनिया के सबसे प्रशंसित और लोकप्रिय टेलीविजन शो में से एक है और इसे इतिहास में सबसे प्रसिद्ध लैटिन अमेरिकी टेलीनोवेला माना जाता है। यह पहला टेलीनोवेला है जिसे दुनिया भर में दोबारा बनाया गया है और इसे टेलीनोवेला को सफलता के नए स्तर पर लाने वाला माना जाता है। कलाकार एना मारिया ओरोज्को - बीट्रिज़ "बेट्टी" ऑरोरा पिंज़ोन सोलानो होरहे एनरिक एबेलो - अरमांडो मेंडोज़ा सैन्ज़ सन्दर्भ श्रेणी:कोलम्बियाई टेलीविजन धारावाहिक
सन् २०२४ के भारतीय आम चुनाव से सम्बन्धित जनमत सर्वेक्षण
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२०२४ के भारतीय आम चुनाव से पहले, विभिन्न मीडिया घराने और मतदान एजेंसियां मतदान के इरादों को जानने के लिए जनमत सर्वेक्षण करा रही हैं। ऐसे सर्वेक्षणों के परिणाम इस सूची में प्रदर्शित किये जाते हैं। वोट और सीट शेयर का अनुमान +वोट शेयर का अनुमानमतदान एजेंसीप्रकाशन के तिथिनमूने का आकारत्रुटि के मार्जिनबढ़तराजगभरवसगअन्यन्यूज १८ इंडियामार्च २०२४118,616±4%48322016एबीपी न्यूज-सी वोटरमार्च २०२४41,762±5%4639157इंडिया टीवी-सीएनएक्समार्च २०२४162,900±3%'| | |bgcolor=|'टाइम्स नाउ-ईटीजीमार्च २०२४323,357±3%5242610ज़ी न्यूज-मैट्राइजफरवरी २०२४167,843±2%43.627.724.915.9इंडिया टुडे-सी वोटरफरवरी २०२४149,092±3-5%4538178टाइम्स नाउ-ईटीजीफरवरी २०२४156,843±2%41.828.629.613.2एबीपी-सी वोटरदिसंबर २०२३200,000±3-5%4238204टाइम्स नाउ-ईटीजीदिसंबर २०२३147,231±3%4439175इंडिया टीवी-सीएनएक्सअक्टूबर २०२३54,250±3%43.439.117.54.3टाइम्स नाउ-ईटीजीअक्टूबर २०२३135,100±3%42.640.217.22.4अगस्त २०२३110,662±3%42.640.217.22.4इंडिया टुडे-सी वोटरअगस्त २०२३160,438±3-5%4341162भरवसग बनाया गयाइंडिया टुडे-सी वोटरजनवरी २०२३140,917±3-5%43302713२०१९ लोकसभा चुनाव के नतीजे४५.३%२८.५%२७.२%१७.८% +सीट शेयर का अनुमानमतदान एजेंसीप्रकाशन के तिथिनमूने का आकारत्रुटि के मार्जिनबढ़तराजगभरवसगअन्यन्यूज १८ इंडियामार्च २०२४118,616±4%41110527NDAएबीपी न्यूज-सी वोटरमार्च २०२४41,762±5%36615621NDAइंडिया टीवी-सीएनएक्समार्च २०२४162,900±3%3789867NDAटाइम्स नाउ-ईटीजीमार्च २०२४323,357±3%358-398110-13040-50NDAज़ी न्यूज-मैट्राइजफरवरी २०२४167,843±2%3779373NDAइंडिया टीवी-सी वोटरफरवरी २०२४149,092±3-5%33516642NDAटाइम्स नाउ-ईटीजीफरवरी २०२४156,843±2%36610473NDAएबीपी न्यूज-सी वोटरदिसंबर २०२३200,000±3-5%295-335165-20535-65NDAटाइम्स नाउ-ईटीजीदिसंबर २०२३147,231±3%319-339148-16852-61NDAइंडिया टीवी-सीएनएक्सअक्टूबर २०२३54,250±3%31517256NDAटाइम्स नाउ-ईटीजीअक्टूबर २०२३135,100±3%297-317165-18557-65NDAअगस्त २०२३110,662±3%296-326160-19056-64NDAइंडिया टुडे-सी वोटरअगस्त २०२३160,438±3-5%30619354NDAभरवसग बनाया गयाइंडिया टुडे-सी वोटरजनवरी २०२३140,917±3-5%29815392NDA२०१९ लोकसभा चुनाव के नतीजे३५४९३९६राजग संदर्भ श्रेणी:भारतीय आम चुनाव
माउंट हेर्मोन स्कूल, दार्जिलिंग
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अनुप्रेषित माउंट हर्मन स्कूल, दार्जिलिंग
प्रतिवर्ती फलन
https://hi.wikipedia.org/wiki/प्रतिवर्ती_फलन
Manoj Kumar
वेव (अंटोनियो कार्लोस जोबिम गीत)
https://hi.wikipedia.org/wiki/वेव_(अंटोनियो_कार्लोस_जोबिम_गीत)
"वेव" () (जिसे वोउ ते कॉन्टार के नाम से भी जाना जाता है) एक बोसा नोवा और जैज़ स्टैंडर्ड गीत है जिसे अंटोनियो कार्लोस जोबिम द्वारा जारी किया गया है। उल्लेखनीय रिकॉर्डिंग अंटोनियो कार्लोस जोबिम – वेव (1967) और अंटोनियो कार्लोस जोबिम एंड फ्रेंड्स (1993) टूट्स थिएलेमैन्स के साथ एलिस रेजिना – अक्वारेला दो ब्राज़ील (1969) ऑस्कर पीटरसन – मोशन्स एंड इमोशंस (1969; क्लॉस ओगरमैन द्वारा व्यवस्था) पॉल डेसमंड – लाइव (1975) जोआओ गिल्बेर्टो – अमोरोसो (1976) फ्रेड हर्श और बिल फ्रिसेल – सॉन्ग्स वी नो (1998) अहमद जमाल – द अवेकनिंग (1970) फ्रैंक सिनाट्रा और अंटोनियो कार्लोस जोबिम – सिनात्रा एंड कंपनी (1970) रॉन कार्टर के साथ मैककॉय टाइनर और टोनी विलियम्स – सुपरट्रिओस (1977) सराह वौघन – लाइव इन जापान (1973) रॉबर्टो कार्लोस और काएटानो वेलोसो – जोबिम (2000) एलियाने एलियास – फंतासिया (1992) और ब्राज़ीलियन क्लासिक्स (2003) लियोन थॉमस और गैरी बार्ट्ज़ – प्रेशियस एनर्जी (1990) सन्दर्भ श्रेणी:पुर्तगाली गाने
लौह ऑक्साइड
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अंगूठाकार|260x260पिक्सेल|विद्युत रासायनिक विधि से ऑक्सीकृत लोहा (जंग) लौह ऑक्साइड, लोहा और ऑक्सीजन से बने रासायनिक यौगिक हैं। लौह ऑक्साइडों एक नहीं बल्कि कई हैं। प्रायः वे अ-रससमीकरणमितीय (non-stoichiometric — ) होते हैं। यह भी ध्यातव्य है कि इसी से सम्बन्धित एक वर्ग ऑक्सीहाइड्रॉक्साइड का भी है जिसका शायद जिनमें से सबसे अच्छा ज्ञात उदाहरण जंग है। प्रकृति में लौह ऑक्साइड और ऑक्सीहाइड्रोक्साइड व्यापक रूप से विद्यमान हैं और ये कई भूगर्भीय और जैविक प्रक्रियाओं में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।इनका उपयोग लौह अयस्क के र्रुप में, वर्णक, उत्प्रेरक और थर्माइट में किया जाता है। लौह ऑक्साइड हीमोग्लोबिन में पाए जाते हैं। आयरन ऑक्साइड पेंट, कोटिंग्स और रंगीन कंक्रीट में सस्ते और टिकाऊ वर्णक होते हैं। आमतौर पर उपलब्ध रंग पीले/नारंगी/लाल/भूरे/काले रंग की श्रेणी के "मिट्टी" वाले रंग होते हैं। जब इसे खाद्य रंजक के रूप में उपयोग किया जाता है, तो इसका ई नंबर E172 होता है। रससमीकरणमिति (स्टाइकियोमीट्री) अंगूठाकार|261x261पिक्सेल|आयरन ऑक्साइड वर्णक। इसका भूरा रंग यह इंगित करता है कि इसमें लोहा ऑक्सीकरण अवस्था + 3 पर है। अंगूठाकार|पत्थर के कोर नमूने पर हरे और लाल भूरे रंग के दाग, क्रमशः Fe2+ और Fe3+ के ऑक्साइड/हाइड्रॉक्साइड हैं। लौह ऑक्साइड लौह ( (लौह II) या फेरिक (फे (III) या दोनों के रूप में होते हैं। वे ऑक्टाहेड्रल या टेट्राहेड्रल समन्वय ज्यामिति को अपनाते हैं। पृथ्वी की सतह पर केवल कुछ ही ऑक्साइड महत्वपूर्ण हैं, विशेष रूप से वुस्टाइट, मैग्नेटाइट और हेमेटाइट। FeII के ऑक्साइड FeO: आयरन (II) ऑक्साइड, वुस्टाइटअच्छा लगा FeII और FeIII के मिश्रित ऑक्साइड Fe34: लोहा (II, III, ऑक्साइड, मैग्नेटाइट) Fe4O5 Fe5O6 Fe5O7 Fe25O32 Fe13O19 FeIII के ऑक्साइड Fe2O3: लोहा (III) ऑक्साइड 3-Fe2: अल्फा चरण, हेमेटाइट 3-Fe2: बीटा चरण 3-Fe2: गामा चरण, मैगेमाइटमैगमाइट 3-Fe2: एप्सिलॉन चरण तापीय प्रसार +आयरन ऑक्साइडCTE (x10−6 °C−1) Fe2O314.9Fe3O4>9.2FeO12.1 ऑक्साइड-हाइड्रॉक्साइड गोएथाइट (α-FeOOH) अकागनैट (β-FeOOH) लेपिडोक्रोसाइट (γ-FeOOH) फेरॉक्सीहाइट (δ-FeOOH) 38 (Fe5 लगभग, या 5 Fe2, FeOOH·4H4O के रूप में बेहतर पुनर्गठित उच्च दबाव पाइराइट-संरचित FeOOH बार 'x'-link" data-linkid="90" href="./Dehydration_reaction" id="mwpQ" rel="mw:WikiLink" title="Dehydration reaction">निर्जलीकरण शुरू हो जाने के बाद, यह चरण FeO2 (0 <x <1′) बना सकता है। −z:80%;text-align:left" typeof="mw:Transclusion">IIy="92" href="./Green_rust" id="mwrQ" rel="mw:WikiLink" title="Green rust">हरा जंग (FeIIIx + y-z (A-z जहाँ A-Cl-या 0.5 -4 है)   अभिक्रियाएँ ब्लास्ट फर्नेस और संबंधित कारखानों में, लोहे के ऑक्साइड को धातु में परिवर्तित किया जाता है। इसके लिये कार्बन के विभिन्न रूप विशिष्ट अपचायक कारक हैं। एक प्रतिनिधि अभिक्रिया फेरिक ऑक्साइड से शुरू होती हैः   प्रकृति में आयरन कई जीवों में फेरिटिन के रूप में संग्रहीत किया जाता है, जो एक घुलनशील प्रोटीन म्यान में घिरा हुआ एक लौह ऑक्साइड है। वनइडेन्सिस, जियोबैक्टर सल्फररेड्यूसेन्स और जियोबैक्टर मेटालीरेड्यूसेन्स सहित बैक्टीरिया की प्रजातियां, अंतिम इलेक्ट्रॉन स्वीकारकों के रूप में आयरन ऑक्साइड का उपयोग करती हैं। उपयोग लगभग सभी लौह अयस्क ऑक्साइड होते हैं, इसलिए इस मायने में ये पदार्थ लौह धातु और इसके कई मिश्र धातुओं के लिए महत्वपूर्ण अग्रदूत (precursors ) हैं। लौह ऑक्साइड एक महत्वपूर्ण वर्णक हैं, जो विभिन्न रंगों (काला, लाल, पीला) में आते हैं। इनके कई लाभ हैं, जैसे इनका सस्ता, मजबूत, रंगीन और गैर-विषाक्त होना। मैग्नेटाइट चुंबकीय रिकॉर्डिंग टेप का एक घटक है। इन्हें भी देखें आयरन(II) ऑक्साइड महान ऑक्सीकरण घटना लौह चक्र आयरन ऑक्साइड नैनोपार्टिकल लिमोनाइट अकार्बनिक वर्णकों की सूची सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ आयरन वन-पॉट प्रतिक्रिया आयरन ऑक्साइड पिगमेंट सांख्यिकी और सूचना सीडीसी-एनआईओएसएच पॉकेट गाइड टू केमिकल हैज़र्ड श्रेणी:लोहा यौगिक
साँवरिया (2007 फ़िल्म)
https://hi.wikipedia.org/wiki/साँवरिया_(2007_फ़िल्म)
पुनर्प्रेषित सांवरिया
ओमप्रकाश क्षत्रिय 'प्रकाश'
https://hi.wikipedia.org/wiki/ओमप्रकाश_क्षत्रिय_'प्रकाश'
ओमप्रकाश क्षत्रिय प्रकाश वरिष्ठ बाल सहित्यकार को मध्य प्रदेश साहित्य अकादमी से 2018 का श्री हरिकृृष्ण देेवसरे पुुरस्कार स्वरुप 51000 रु प्राप्त हुआ।
आंध्र
https://hi.wikipedia.org/wiki/आंध्र
प्राचीन भारतीय प्रांत, दक्षिण भारत में स्थित।
गुनाहों का देवता 1949
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THE STORY OF NOVEL "GUNAHON KA DEVTA" WAS NOT THE STORY OF THAT ERA BUT WAS THE STORY OF HUMAN BEHAVIER IN US, THUS IT RULES ALL THE TIME*
ब्रिटिश आइल्स
https://hi.wikipedia.org/wiki/ब्रिटिश_आइल्स
thumb|250px|ब्रिटिश द्वीपों का भौगोलिक दृश्य ब्रिटिश आइल्स महाद्वीप यूरोप के उत्तर-पश्चिमी तट पर उत्तरी अटलांटिक महासागर में द्वीपों का एक समूह है, जिसमें ग्रेट ब्रिटेन, आयरलैंड, आइल ऑफ मैन, आंतरिक और बाहरी हेब्राइड्स, उत्तरी द्वीप (ओर्कनेय और ओर्कनेय) शेटलैंड, और छह हजार से अधिक छोटे द्वीप शामिल हैं। उनका कुल क्षेत्रफल 315,159 किमी² (3.39234×1012 वर्ग फुट) है और कुल जनसंख्या लगभग 72 मिलियन है, और इसमें दो संप्रभु राज्य शामिल हैं, आयरलैंड गणराज्य (जो आयरलैंड के लगभग पांच-छठे हिस्से को कवर करता है),The diplomatic and constitutional name of the Irish state is simply Ireland. For disambiguation purposes, Republic of Ireland is often used although technically not the name of the state but, according to the Republic of Ireland Act 1948, the state "may be described" as such. और ग्रेट ब्रिटेन और उत्तरी आयरलैंड का यूनाइटेड किंगडम। फ्रांस के उत्तरी तट पर स्थित चैनल द्वीप समूह को आम तौर पर ब्रिटिश द्वीपों का हिस्सा माना जाता है,Oxford English Dictionary: "British Isles: a geographical term for the islands comprising Great Britain and Ireland with all their offshore islands including the Isle of Man and the Channel Islands." और ग्रेट ब्रिटेन और उत्तरी आयरलैंड का यूनाइटेड किंगडम। फ्रांस के उत्तरी तट पर स्थित चैनल द्वीप समूह को आम तौर पर ब्रिटिश द्वीपों का हिस्सा माना जाता है, भले ही भौगोलिक रूप से वे द्वीपसमूह का हिस्सा नहीं बनते हैं। संदर्भ श्रेणी:यूनाइटेड किंगडम श्रेणी:द्वीप समूह
British Isles
https://hi.wikipedia.org/wiki/British_Isles
redirect ब्रिटिश आइल्स
डॉ. महेन्द्र भाटी
https://hi.wikipedia.org/wiki/डॉ._महेन्द्र_भाटी
डॉ.महेन्द्र भाटी भारतीय ज्योतिषी व आध्यात्मिक चिंतक हैं। उनके द्वारा की गई 200 से अधिक ज्योतिषीय भविष्यवाणियां सार्वजनिक रूप से सच हुईं, जिसके लिए उनका नाम नेशनल बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज किया गया है। जीवन परिचय डॉ. महेन्द्र भाटी भारतीय ज्योतिषी व आध्यात्मिक चिंतक हैं इन्हे त्रिकाल के नाम से जाना जाता है। भाटी का जन्म राजस्थान के रायपुर नामक गांव में हुआ था। भाटी ने अभी तक 155 से ज्यादा सफल भविष्यवाणी की हैं जिसके लिए उनका नाम वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकार्ड्स में दर्ज़ किया जा चुका है। भाटी को वर्ष 2022 में भारत विभूषण से भी सम्मानित किया जा चुका है। सन्दर्भ बाहरी कड़ियाँ वेबसाइट फेसबुक पर डॉ. महेंद्र भाटी श्रेणी:हिन्दू आध्यात्मिक नेता श्रेणी:1981 में जन्मे लोग श्रेणी:जीवित लोग श्रेणी:योग श्रेणी:भारतीय ज्योतिषी श्रेणी:राजस्थान के लोग
व्हाइट हैट
https://hi.wikipedia.org/wiki/व्हाइट_हैट
Me id heck ho gayi please please please help
संकट आसन
https://hi.wikipedia.org/wiki/संकट_आसन
संकट आसन का नामकरण - यह एक कठिन आसन है। दोनों पैरों में दर्द होने पर पेशियों को आराम देने के लिए हम एक पैर को उस संकटमय स्थिति में ऊपर उठा लेते हैं। इसलिए इसे संकटासन कहते है। संकट आसन की विधि - खडे़ होकर बायें पैर को जमीन पर रखते हैं और दाहिने पैर को मोड़कर बायें पैर को चारों तरफ लपेट लेते हैं। दायीं जाँघ बायीं जॉघ के सामने रहेगी। हाथों को जाँघों पर दबा कर रखना है। इसके महर्षि घेरण्ड ने संकटासन कहा है। संकट आसन से लाभ - 1. यह माँसपेशियों को पुष्ट बनाता है। 2. स्नायुओं को स्वास्थ्य प्रदान करता है। तथा पैर के जोड़ों को ढीला बनाता है। 3. यह मूलाधार चक्र को जागृत करता है। 4. एकाग्रता बढ़ती है।
प्रमुख शिलालेख संख्या 13
https://hi.wikipedia.org/wiki/प्रमुख_शिलालेख_संख्या_13
Redirect अशोक के अभिलेख
कलिंग (ऐतिहासिक साम्राज्य)
https://hi.wikipedia.org/wiki/कलिंग_(ऐतिहासिक_साम्राज्य)
Redirectकलिंग
कलिंग साम्राज्य
https://hi.wikipedia.org/wiki/कलिंग_साम्राज्य
Redirect कलिंग
खुरपी
https://hi.wikipedia.org/wiki/खुरपी
यह एक कृषि उपकरण होता है जो बागवानी, वृक्षारोपण आदि छोटे मोटे काम में उपयोग किया जाता है
संगीताभिलाषी
https://hi.wikipedia.org/wiki/संगीताभिलाषी
डॉ.राजेश कुमार चौहान और डॉ.अभिलाषा शर्मा द्वारा लिखित "संगीताभिलाषी" पुस्तक संगीत विषय से संबंधित विश्वविद्यालय अनुदान आयोग द्वारा आयोजित नेट/जेआरएफ, विभिन्न राज्य सेवा आयोग द्वारा संचालित सेट/ स्लैट, संगीत प्राध्यापक (कॉलेज कैडर), संगीत शिक्षक केंद्रीय विद्यालय, संगीत शिक्षक जवाहर नवोदय विद्यालय तथा एम.ए, एम. फिल, पीएच.डी. प्रवेश परीक्षा आदि विभिन्न प्रतिस्पर्धात्मक परीक्षाओं के लिए अत्यधिक उपयोगी है। संगीताभिलाषी प्रकाशन वर्ष से ही अमेज़न पर सर्वाधिक बिकने वाली पुस्तकों में शुमार है।
भारत के लिए एपोस्टोलिक नंसियेचर
https://hi.wikipedia.org/wiki/भारत_के_लिए_एपोस्टोलिक_नंसियेचर
redirectभारत में वेटिकन सिटी का धार्मिक राजदूतावास